हरिद्वार । गन्ना भुगतान को लेकर एक बार फिर किसानों के साथ छल हुआ। लंबे समय से भुगतान की आस लगाये किसानों के लिए जोर का झटका जोर से लगा। सोमवार को दो साल की चीनी नीलाम करने को सोमवार को बोली लगनी थी लेकिन एक भी बोली लगाने वाला नहीं आया। जिसके चलते नीलामी नहीं हो पायी। अब स्थानिय प्रशासन नये सिरे से नीलामी की प्रक्रिया में जुट गया हैं। सोमवार को तहसील मुख्यालय में इस निलामी प्रक्रिया को पूरा किया जाना था किसानों के लिए सरकारों की धोषणा और जमीन पर किये जाने वाले काम में कितना अंतर और इसके चलते किसानों को कितनी परेशानी झेलनी पड़ रही है इसकी एक बानगी हरिद्वार के भगवानपुर तहसील में उस समय देखने को मिली जब दो साल की चीनी की निलामी की जानी थी लेकिन किसी भी बोली न लगाने वाले के मौके पर न पहुंचने के चलते बोली प्रक्रिया शुरु ही नहीं हो पायी। जिसके चलते किसानो को बड़ा झटका लगा। दरअसल इस चीनी की निलामी के बाद किसानों को अपने भुगनान मिलने की आस टूट गयी। दरअसल कोर्ट के आदेश के बाद मिल की दो साल की चीनी को निलाम करायी जानी थी। लेकिन ऐसा न हो सका। दरअसल इकबालपुर चीनी मिल पर किसानों का तीन साल का भुगतान बकाया है। बकाया भुगतान को लेकर नन्हेड़ा गांव के किसान नीतिन कुमार ने उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर की थी। याचिका पर उच्च न्यायालय ने छह जनवरी को आदेश दिया था कि प्रशासन दो पेराई सत्र की गोदामों में जमा चीनी को निलाम कराकर किसानो का भुगतान कराये। यह निलामी 11 फरवरी से पहले करायी जानी थी। प्रशासन ने सोमवार को नीलामी की तारीख तय की थी। सुबह ही अपर जिलाधिकारी केके मिश्रा सहित कई बड़े अधिकारी और मिल प्रबंधन के अधिकारी मिल पहुंचे और निलामी की प्रक्रिया को शुरु कराने का इंतजार करते रहे। दोपहर दो बजे तक जब कोई भी बोली लगाने के लिए नहीं पहुंचा। हालांकि इस निलामी के लिए 25 जनवरी से पपत्र बेचे जाने की प्रक्रिया की जा रही थी। घंटो के इंतजार के बाद जब एक भी प्रपत्र नहीं बिका। इसके बाद प्रशासन ने इस नीलामी की प्रक्रिया को स्थगित करने का निर्णय लिया। सहायक गन्ना आयुक्त शैलेंद्र सिंह ने बताया निलामी को लेकर कई दिनों से तैयारीयां की जा रही थी लेकिन किसी भी बोली लगाने वाले के न पहुंचने के चलते फिलहाल निलामी प्रक्रिया स्थगित कर दी गयी हैं । उन्होने कि जिलाधिकारी को इस संबंध में रिपोर्ट भेज दी गई है। जल्दी ही नई तारीख मिलने के बाद इस प्रक्रिया को फिर से शुरु करने का काम किया जायेगा।
गन्ना किसानों को जोर का झटका धीरे से अब कैसे मिलेगा किसानो को बकाया भुगतान

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