गरीब और मध्यमवर्गीय पूंजीपतियों को उपहार के लिए भुगतान कर रहे है- राहुल गांधी

गरीब और मध्यमवर्गीय पूंजीपतियों को उपहार के लिए भुगतान कर रहे है- राहुल गांधी

राहुल गांधी लगातर सरकार को घेर रंहे है । देश मे बढ़ते कोरोना संक्रमण ले मामले पर तो कभी गरीबो को नगद राहत पर लगातार सरकार की नाकामियां गिनवा रंहे है राहुल गांधी | आज राहुल गांधी ने पेट्रोल डीजल के दामों में लगातार ही रही वर्द्धि पर ट्विटर के जरिये सरकार पर हमला बोला। आज लगातर 9 वे दिन तेल कंपनियों ने डीजल ओर पेट्रोल के दामों में बढ़ोतरी की है। जाहिर है कि इसका असर गरीब और मध्यमवर्गीय की जेब पर भी पड़ेगा। राहुल गांधी ने ट्वीट करते हुए कहा कि गरीब और मध्यमवर्गीय कीमत चुका रंहे है और पूंजीपतियों को इसका उपहार मिल रहा है। राहुल ने एक डाटा पोस्ट करके ये बताना चाहा है कि 2014 में upa की सरकार के कच्चे तेल के दाम 107.09 डॉलर थी जब पेट्रोल 71 .41 रुपये ओर डीजल 55 रुपये 49 पैसे में बिक रहा रहा था। #शर्म_करो_लुटेरी_सरकार राहुल ने ग्राफिक्स पोस्ट करते हुए ये बताया है कि 15 जून को कच्चे तेल की कीमत 40.66 डॉलर प्रति बैरल थी, तब देश में पेट्रोल 76.26 और डीजल 74.62 रुपये प्रति लीटर बिक रहा है. यूपीए सरकार की तुलना में आज कच्चे तेल की कीमतें आधे से भी कम पर आ गई हैं, लेकिन फिर भी तब और आज के पेट्रोल और डीजल की कीमतों में 4.85 और 19.13 रुपये प्रति लीटर का अंतर है. इस ग्राफिक में पेट्रोल और डीजल पर एक्साइज ड्यूटी की भी तुलना कर आंकड़े दर्शाए गए हैं | राहुल ने अपनी पोस्ट में #शर्म_करो_लुटेरी_सरकार हैशटैग का इस्तेमाल किया है। ये भी पढ़े : सरकार के घमंड और अयोग्यता की वजह से कोरोना त्रासदी : राहुल गाँधी   राहुल गांधी का ये ग्राफिक्स पोस्ट ये दर्शाता है कि 16 मई को देश में डीजल पर 3.46 रुपये ओर पेट्रोल पर 9 रुपये 20 पैसे प्रति लीटर एक्साइज ड्यूटी लगती थी. 15 जून को और डीजल पर 31.83 रुपये ओर पेट्रोल पर 32 रुपये 98 पैसे प्रति लीटर एक्साइज ड्यूटी है. यह 16 मई 2014 की तुलना में पेट्रोल पर ढाई और डीजल पर आठ गुने से भी अधिक है। कांग्रेस अब इसपर आक्रामक रुख अपना रही है। लगातर कांग्रेस प्रवक्ता भी इसपर सरकार को घेर रंहे है। तेल के दामों पर व्रद्धि का सीधा संबंध आम आदमी हो या किसान हो सबकी जेब पर पड़ता है।  

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